*झट से बदल दूं, इतनी न हैसियत न आदत है मेरी..* *रिश्ते हों या लिबास, मैं बरसों चलाता हूँ..*
U Unregistered Guest Jul 3, 2017 #1 *झट से बदल दूं, इतनी न हैसियत न आदत है मेरी..* *रिश्ते हों या लिबास, मैं बरसों चलाता हूँ..*