ना दे दुआ तू मुझे कोई जाम दे साकी...

~¤Akash¤~

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रहे साथ जाविदाँ मेरे कोई ऐसा खुमार दे साकी
वो जमीने-मजार मेरी है ना अब इंतजार दे साकी

तरसा है बहुत कोई मता-ए-दिल के लिए
लगा के आज गले उसको थाम ले साकी

बुझेगी प्यास दिलो की तेरे ही दर पे अब
इन मैकशों को कोई जलता सा जाम दे साकी

हिसाब-ए-खौंप से कोई रिंद ना रहे प्यासा
मेरे हाथों में मैकदे का निजाम दे साकी

रहे जो होश मुझे डर लगता इस दुनिया से
ना आये होश कभी ऐसा जाम दे साकी

दिन गुजरा हैं मेरा बादा-ए-तसव्वुर में
अब तो मुझको कोई महकी सी शाम दे साकी

रहे ना डर बे-ठिकानो को अब ठिकानो का
मैकदो को ही अब घर का नाम दे साकी

इलाज हैं यही तो लाइलाज जख्मो का
ना दे दुआ तू मुझे कोई जाम दे साकी...
 
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