~¤Akash¤~
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दुआ भी होती है मगर असर नही होता
तड़फ से मेरी दामन उसका तर नहीं होता
अब इस दिल में बेहिसी का मौसम है
जख्म तो है लेकिन, हरा नहीं होता
जख्म तो सदा ही उसने बख्शे हैं अयान
जिस हाथ में कोई खंजर थमा नहीं होता
लड़ता रहा जो सब से शरपसंदी मे
उसे खुद से लड़ने का हौसला नहीं होता
दिया था खून हमने जिसकी मिटटी मे
उसी सजर का कोई पत्ता हरा नहीं होता
सोचते है इस जिंदगी से तो मौत ही अच्छी
मरता एक दिन रोज तो मरा नहीं होता
खेलते तुम कभी जो बच्चों मे
फिर ना कहते के खुदा नहीं होता
क्या करें दिल भी हुस्न वालों मे
पत्थर होता है आइना नहीं होता
दर्द-ए-दिल हैं "अयान" मुश्किल हैं
तेरा ख्याल होता है जहर सा दवा नहीं होता...
तड़फ से मेरी दामन उसका तर नहीं होता
अब इस दिल में बेहिसी का मौसम है
जख्म तो है लेकिन, हरा नहीं होता
जख्म तो सदा ही उसने बख्शे हैं अयान
जिस हाथ में कोई खंजर थमा नहीं होता
लड़ता रहा जो सब से शरपसंदी मे
उसे खुद से लड़ने का हौसला नहीं होता
दिया था खून हमने जिसकी मिटटी मे
उसी सजर का कोई पत्ता हरा नहीं होता
सोचते है इस जिंदगी से तो मौत ही अच्छी
मरता एक दिन रोज तो मरा नहीं होता
खेलते तुम कभी जो बच्चों मे
फिर ना कहते के खुदा नहीं होता
क्या करें दिल भी हुस्न वालों मे
पत्थर होता है आइना नहीं होता
दर्द-ए-दिल हैं "अयान" मुश्किल हैं
तेरा ख्याल होता है जहर सा दवा नहीं होता...